जय सांई राम।।।
मधुबन खुसबू देता है, सागर सांवन देता है
जीना उसका जीना है, जो औरों को जीवन देता है।
सूरज ना बन पाये तो, बनके दीपक जलता चल,
फूल मिले याँ अन्गारे, सच की राह पे चलता चल
प्यार दिलों को देता है, अश्कों को दामन देता है।
जीना उसका जीना है जो औरों को जीवन देता है।
चलती है लहरा के पवन, के सांस सभी की चलती रहे
लोगों ने त्याग दिये जीवन, कि प्रीत दिलों मे पलती रहे।
दिल वो दिल है जो औरों को, अपनी धड़कन देता है।
जीना उसका जीना.......
बहुत खूब सोनम तुम्हारा जवाब नही, बाबा सांई सचमुच फिदा है तुम्हारे प्रेम पर। क्या करती हो और उम्र किया है तुम्हारी? कुछ और बताओ अपने बारे में।
ॐ सांई राम।।।